सरस्वती मां शीश झुका के नमन तुम्हें सौ बार
तेरे सुर और ज्ञान की जग में
होती जय जयकार....
स्वेत कमल है आसान तेरा
हंस का चरणों में है बसेरा
ज्ञान प्रदायिनी माता तुमने
किया अज्ञान का दूर अंधेरा
शारदे मां तेरे पास भरा है
विद्या का भंडार
तेरे सुर और ज्ञान की जग में
होती जय जयकार........
सरस्वती मां शीश झुका के नमन तुम्हें सौ बार
मां सरस्वती नमो नमः,
मां सरस्वती नमो नमः
वेद लिखें हैं उन ऋषियों ने
दी है जिन्हें तूने अपनी छाया
जिनको पढ़कर जग ने जाना
क्या सुख-दुख है क्या मोह माया
ऐसी ही शक्ति हमको देके
कर दो मुझपे उपकार
तेरे सुर और ज्ञान की जग में
होती जय जयकार........
सरस्वती मां शीश झुका के नमन तुम्हें सौ बार
मां सरस्वती नमो नमः,
मां सरस्वती नमो नमः
0 Comments